-मुस्लिम समाज के लोगों ने किया
कलक्ट्रेट पर किया प्रदर्शन
शाहिद खान
नित्य संदेश, मेरठ। शहर काजी का विवाद थमने का नाम नहीं ले रहा। शनिवार को कारी शफीकुर्रमान पक्ष के लोगों ने कलक्ट्रेट पर प्रदर्शन किया। बताया कि शाही जामा मस्जिद में कारी शफीकुर्रहमान पिछले 45 वर्षों से नमाज से तकरीर करते आ रहे हैं।
गत दिनों शहर काजी प्रो. जैनुल साजिद्दीन
का देहांत हो गया था। जिसके बाद समाजवादी पार्टी, कांग्रेस नेताओं व विधायकों ने षडयंत्र
कर उनके कम उम्र व अनुभवहीन युवा पुत्र को अपने राजनीतिक लाभ के लिए शहर काजी बना दिया,
लेकिन इस बात से जनता व आलिमों में आक्रोश है। हालांकि, श्हार के एक बड़े मुस्लिम जनमानस
ने कारी शफीकुरहमान कासमी को मेरठ का शहर काजी घोषित कर दिया था। गत 21 मार्च को शुक्रवार
को काजी कारी शफीकुर्रहमान कासमी पूर्व की भांति नमाज अदा करने व नमाजियों को सम्बोधित
करने जामा मस्जिद पहुँचे तो षडयंत्रकारियों ने पुलिस की मौजूदगी में ही काजी कारी शफीर्कुरहमान
के साथ मारपीट, धक्का मुक्की व गाली गलौच की। माइक छीनकर सम्बोधन न करने व मस्जिद से
बाहर जाने के लिए कहा, जिसमें वहां पर झगडे का माहौल बन गया। धर्म गुरु के अपमान का
मुस्लिम समाज में बहुत गुस्सा व रोष है।
मांग की कि षडयंत्रकारियों व पूर्व
मुचलका पाबन्द व्यक्तिओं को चिहिन्त कर घटना में शामिल लोगों पर कठौर कार्यवाही की
जाए। काजी कारी शफीकुरहमान कासमी को पूर्ण सुरक्षा दी जाए व 45 वर्षों से शाही जामा
मस्जिद व शाही ईदगाह में सम्बोधन को बरकरार रखा जाए। इस मौके पर दिलशाद सैफी, शाहनवाज,
मोहम्मद शाहिद, रहीमुद्दीन, वसीम सैफी, नफीस सैफी, इकरामुद्दीन, मोहम्मद सलीम आदि मौजूद
रहें।
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