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Monday, February 17, 2025

कुरआन की तालीम से मिलता है सकून: मुफ्ती मोहम्मद जाबिर

 


-फलावदा क्षेत्र के गांव बातनौर में हुआ इजलास ए आम का हुआ आयोजन

सुहैल मंसूरी

नित्य संदेश, फलावदा। क्षेत्र के बातनौर गांव में स्थित मदरसा जामिया अरबिया नूरुल उलूम में सालाना जलसे का आयोजन किया गया। जलसे की सदारत कारी उबैदुर रहमान कैली और जलसे के सरपरस्ती मुफ्ती मोहम्मद यामीन ने की।

जलसे में मुफ्ती यामीन, कारी उबैदुर रहमान कैली, मौलाना जमील, मौलाना सरफराज जानसठ, मुफ्ती जाबिर खतौली, मौलाना अब्दुल हलीम मेरठ, मौलाना तनवीर महलका, हाफिज सलीम फलावदा, हाफिज राशिद सरसवा, कारी आसिम सगीर मेरठ, हाफिज अरशद सनौता, हाफिज मिन्हाज बड़ा गांव, मौलाना तबरेज आदि उलेमा ए दीन ने शिरकत की। मौलाना अब्दुल हलीम ने इजलास ए आम को खिताब करते हुए कहा कि हम सबको अपने मां बाप की नाफरमानी नहीं करनी चाहिए। मां-बाप की नाफरमानी से अल्लाह नाराज होता है। उन्होंने कहा कि मुसलमानों को अपने मां बाप की बददुआ से बचाना चाहिए। मां बाप की बददुआ कभी खाली नहीं जाती। मुफ्ती जाबिर ने जलसे में कुरआन पाक की तिलावत करते हुए कहा कि कुरआन की तालीम से शकून मिलता है। कुरआन पाक हर मुसलमान के लिए बहुत जरूरी है। कुरआन पाक पढ़ने से अल्लाह बहुत खुश होता है।

मौलाना सरफराज ने कहा कि हर मुसलमान मां बाप का फर्ज है कि वह अपने बच्चों को दीनी व दुनियावीं तालीम दे। कारी उबैदुर रहमान कैली ने कहा कि हम सब मुसलमानों को नमाज पढ़नी चाहिए। उन्होंने कहा कि कयामत में सबसे पहले नमाज का हिसाब होगा। उन्होंने कहा कि हर बालिग मर्द औरत पर पांच वक्त की नमाज फर्ज है। उसे हर हाल में पढ़नी चाहिए। मुफ्ती मौहम्मद यामीन ने देश व दुनिया में अमन चैन के लिए दुआ कराई। इस मौके पर प्रधान सजाउद्दीन, डाक्टर रउफ, हाजी अलाउद्दीन, मौहम्मद उस्मान, मौहम्मद हासिम, सुहैल, मौहम्मद कासिफ आदि लोग मौजूद रहे।

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