बायर ने लॉन्च किया कैमलस, ज्यादा स्मार्ट एवं सस्ट्रेनेबल कीट प्रबंधन के लिए अनूठा पेस्ट् स्पेक्ट्रम कीटनाशक
नित्य संदेश ब्यूरो
मेरठ। कृषि एवं हेल्थकेयर सेक्टर से संबंधित लाइफ साइंस के क्षेत्र में विशेषज्ञता वाली वैश्विक कंपनी बायर ने कैमलस की लॉन्चिंग का एलान किया है। यह एक अनूठा पेस्ट् स्पेक्ट्रम कीटनाशक है, जिसे विशेष रूप से भारत के बागवानी किसानों को ध्यान में रखकर तैयार किया गया है। चबाने और चूसने वाले कीटों (च्यूइंग एंड सकिंग पेस्ट्) को नियंत्रित करने के लिए अनूठे पेस्ट् स्पेक्ट्रम कंट्रोल के साथ यह दोहरे एक्शन में काम करता है, जो कि बागवानी फसलों की खेती के लिए जरूरी है।
इस लॉन्चिंग के मौके पर भारत, बांग्लादेश एवं श्रीलंका के बायर के क्रॉप साइंस डिवीजन के क्लस्ट्र कॉमर्शियल लीड मोहन बाबू ने कहा, 'भारत में पोषण की जरूरतों को पूरा करने में सब्जियों की महत्वपूर्ण भूमिका है और वैश्विक निर्यात में देश की स्थिति को मजबूत करने की क्षमता भी इसमें है। जैसे-जैसे सब्जियों की खपत बढ़ रही है, उत्पादकता एवं गुणवत्ता सुनिश्चित करना और भी महत्पूर्ण हो गया है। बायर में हम अपने इनोवेटिव एवं सस्टेनेबल सॉल्यूशंस के माध्यम से भारतीय किसानों का समर्थन करने के लिए प्रतिबद्ध हैं। कैमलस के साथ हमने एक नेक्स्ट्-जनरेशन इंसेक्टिसाइड तैयार किया है, जिससे न केवल कीट प्रबंधन को मजबूती मिलेगी, बल्कि इससे भारत एवं विश्व के लिए सब्जियों की दृढ़ एवं उच्च गुणवत्ता वाली वैल्यू चेन तैयार करने में भी मदद मिलेगी। प्रमुख भारतीय राज्यों के प्रीमियम सब्जी मार्केट को लक्ष्य करते हुए कैमलस को अगस्त, 2025 से पंजाब, हरियाणा, उत्तराखंड, उत्तर प्रदेश, पश्चिम बंगाल, छत्तीसगढ़, मध्य प्रदेश, महाराष्ट्र, आंध्र प्रदेश, तेलंगाना और कर्नाटक में उपलब्ध कराया जा रहा है।
भारतीय सब्जी किसान, विशेष रूप से छोटी जोत वाले किसानों को काटने व चूशक कीट संक्रमण के कारण मुश्किल का सामना करना पड़ता है, क्योंकि अक्सर इसके लिए कई बार दवा स्प्रे करने की जरूरत पड़ती है। साथ ही मौजूदा प्रोडक्ट्स के कम होते प्रभाव के कारण भी समस्या बढ़ी है। अपने दोहरे एक्शन की मदद से कैमलस इस चुनौती को दूर करता है। यह कीटों के कारण फसल में होने वाले नुकसान रोकता है और जड़ एवं पत्तों दोनों के माध्यम से अंदर से पौधे की रक्षा करता है। इससे लंबी अवधि की सुरक्षा मिलती है और बार-बार स्प्रे करने की जरूरत कम पड़ती है। इससे किसान के समय, लागत और श्रम की बचत होती है। सब्जी उगाने वाले, विशेष रूप से टमाटर, बैंगन, मिर्च, पत्ता गोभी और भिंडी उगाने वाले किसानों के लिए कैमलस एक शक्तिशाली समाधान बनकर सामने आएगा, अगर फसल की शुरुआती अवस्था में इसका प्रयोग किया जाए।
भारतीय कृषि की वास्तविकताओं को ध्यान में रखकर तैयार कैमलस से न केवल मजबूती से कीट प्रबंधन करेगा, बल्कि इससे इंटीग्रेटेड पेस्ट मैनेजमेंट (आईपीएम) और लाभदायक कीटों पर दुष्प्रभाव को न्यूनतम रखने में भी मदद मिलेगी। इससे लीफ पेनिट्रेशन बेहतर होगी, विशेष रूप से हाई क्वालिटी कैमलस सर्फेक्टेंट के साथ प्रयोग करने से चुनौतीपूर्ण मौसमी परिस्थितियों में भी बेहतर नतीजे सुनिश्चित हो सकेंगे।
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