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Saturday, December 6, 2025

एआई नवाचारों पर केंद्रित पाँच दिवसीय कार्यशाला सम्पन्न

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नित्य संदेश ब्यूरो

मेरठ। चौधरी चरण सिंह विश्वविद्यालय, मेरठ के गणित विभाग द्वारा आयोजित पाँच दिवसीय कार्यशाला “आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस फ्रन्टियर्स: इनोवेशन्स इन फ़ज़ी ऑप्टीमाइजेशन, साइबर सिक्योरिटी एंड सिम्यूलेशन” का पाँचवाँ एवं अंतिम दिवस उत्साहपूर्वक सम्पन्न हुआ। कार्यशाला का उद्देश्य विद्यार्थियों एवं शोधार्थियों को आधुनिक तकनीकों, साइबर सुरक्षा, कृत्रिम बुद्धिमत्ता तथा कंप्यूटिंग के नवीन आयामों से अवगत कराना था, जिसके अन्तर्गत देश-विदेश से प्रतिष्ठित वैज्ञानिकों एवं विशेषज्ञों ने मार्गदर्शन प्रदान किया।


पाँचवें दिन के प्रथम तकनीकी सत्र में अमेरिका से प्रो. आयुष उपाध्याय ने “एलएलएम डिटरमिनिज़्म एट स्केल फॉर साइबर सिक्योरिटी” विषय पर ऑनलाइन व्याख्यान देते हुए बताया कि बड़े साइबर सिक्योरिटी डाटा, रियल-टाइम अटैक लॉग्स, लॉग मॉनिटरिंग एवं कोड स्तर की अनियमितताओं के विश्लेषण में आधुनिक भाषा अधिगम मॉडलों (एलएलएम) की भूमिका तेजी से बढ़ रही है। उन्होंने मॉडल आउटपुट की विश्वसनीयता, टेस्ट बेस्ड मूल्यांकन, डाटा ड्रिफ्ट एवं हैल्यूसिनेशन जैसी चुनौतियों पर प्रकाश डाला।


द्वितीय तकनीकी सत्र में डीआरडीओ, नई दिल्ली के वैज्ञानिक डॉ. मोहम्मद यूसुफ अंसारी ने “वेब एप्लीकेशन सिक्योरिटी थ्रेट्स एंड डिफेन्स मैकेनिज्म्स” विषय पर विस्तृत व्याख्यान प्रस्तुत किया। उन्होंने एसक्यूएल इंजेक्शन, क्रॉस साइट स्क्रिप्टिंग, सेशन हाईजैकिंग, ब्रोकन ऑथेन्टिकेशन, सीएसआरएफ सहित अनेक वेब सुरक्षा जोखिमों की जानकारी देते हुए बताया कि कमजोर वैलिडेशन एवं गलत कॉन्फ़िगरेशन के कारण संवेदनशील डाटा तक अनाधिकृत पहुँच संभव हो सकती है। साथ ही, उन्होंने सुरक्षित कोडिंग, इनपुट सैनिटाइजेशन, स्ट्रॉन्ग ऑथेंटिकेशन, अधिकृत प्रोटोकॉल तथा इंटेलिजेंट वेब फ़ायरवॉल जैसी सुरक्षा रणनीतियों को बेहद महत्वपूर्ण बताया।


समापन समारोह का शुभारंभ सरस्वती वंदना के साथ हुआ। इसके पश्चात् प्रो. शिव राज सिंह ने स्वागत उद्बोधन प्रस्तुत किया। इस दौरान डीन, संकाय विज्ञान – प्रो. जयमाला ने छात्रों को नवाचार एवं शोध कार्यों में सक्रिय भागीदारी हेतु प्रेरित किया। विभागाध्यक्ष प्रो. मुक़ेश कुमार शर्मा ने पाँचों दिनों की तकनीकी गतिविधियों की रिपोर्ट प्रस्तुत की तथा कार्यशाला के शैक्षणिक महत्व पर प्रकाश डाला।


विशिष्ट अतिथि के रूप में डीआरडीओ, नई दिल्ली के डॉ. अजय कुमार ने रक्षा प्रौद्योगिकी एवं वैज्ञानिक अनुसंधान में उभरती संभावनाओं पर विचार व्यक्त किए। मुख्य वक्ता – प्रो. जे. सी. बंसल (साउथ एशियन यूनिवर्सिटी, नई दिल्ली) ने कम्प्यूटेशनल इंटेलिजेंस के बढ़ते उपयोग और इसके अनुप्रयोगों पर चर्चा की। विशिष्ट अतिथि प्रो. पवन कुमार शर्मा (एसएलबीएसएनयू, नई दिल्ली) ने भारतीय ज्ञान परंपरा की दृष्टि से कृत्रिम बुद्धिमत्ता की प्रासंगिकता पर प्रभावी व्याख्यान दिया। मुख्य अतिथि – डॉ. के. पी. सिंह (डीआरडीओ, नई दिल्ली) ने वैश्विक तकनीकी विकास में भारत की बढ़ती भूमिका को रेखांकित किया और युवाओं से शोध-पहल की अपील की।


वरिष्ठ प्राध्यापक प्रो. एम. के. गुप्ता ने कार्यक्रम की सराहना की। संचालन डॉ. सरू कुमारी द्वारा कुशलतापूर्वक किया गया तथा अंत में डॉ. संदीप कुमार ने धन्यवाद ज्ञापन प्रस्तुत कर सभी अतिथियों, प्रतिभागियों एवं आयोजन समिति के सहयोग के लिए आभार व्यक्त किया। समारोह का समापन राष्ट्रगान के साथ हुआ। समापन अवसर पर कार्यक्रम संयोजक एवं विभागाध्यक्ष प्रो. मुक़ेश कुमार शर्मा ने कहा कि “यह पाँच दिवसीय कार्यशाला प्रतिभागियों के लिए अत्यंत ज्ञानवर्धक एवं शोधोन्मुखी रही। विद्यार्थियों में उभरती तकनीकों के प्रति उत्साह देखकर प्रसन्नता हुई। हमारा विभाग भविष्य में भी इसी प्रकार उच्चस्तरीय शैक्षणिक गतिविधियों का निरंतर आयोजन करता रहेगा।”

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